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गांवो में आज भी एक दूसरे के खेत को लेकर लड़ाईयां होती है - Motivational Story in Hindi for Success in Life

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Motivational Story in Hindi for Success in Life

में हु दीपक ओर मे एक किसान का बेटा हु क्या आज भी गांवो मे एक दूसरे के खेत को लेकर लडाई होती है दोस्तो किसान बहुत मेहनती होता है वो इतनी मेहनत करने के बावजूद किसान गरीब होता है चलिए मे आज अपनी स्टोरी सुनाता हु 

गरीब किसान की प्रेरणादायक स्टोरी 

मेरा छोटा सा रतनपर नाम का सुंदर गांव है उस गांव की क्या बात करु क्या हरियाली है उस गांव की सुंदरसे बड़े बड़े पेड़ पौधे और एक हरा भरा छोटा सा परवात उस गांव मे सभी लोग सिर्फ खेती करते थे और मेरा एक छोटा सा घर है उस घर मे प्यारे से 5 लोग रहते थे मेरे पापा मेरी पत्नी मेरे छोटे छोटे दो बच्चे और एक में?  मेरे दो बच्चे थे एक बेटा था एक बेटी थी दोनो स्कूल की पढ़ाई करते थे मेरी मां तो 10 साल पहले गुजर गई थी हम बहुत गरीब थे 8 बीघा जमीन थी हमारे पास मगर पैसे ना होनेकी वजह से हम 5 बीघे मे ही खेती करते थे सुबह उठकर सिर्फ मेहनत करना जानते थे हम! हा मैने पढ़ाई की थी मगर सिर्फ 12 वी तक ही की थी जब सुबह होती तो में ओर मेरे पापा दोनो खेत जाते और बच्चे स्कूल जाते मेरी पत्नी घर का सारा काम करने के बाद खेत मे आती थी फिर हम तीनो मिलकर सारा दिन मेहनत करते गांव के सभी किसानोके खेतो मे पानी कम आता था इसलिए जब भी 

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हमारे खेतो को पानी की जरूरत होती थी तो आपस मे सब लोग झगड़ते थे मगर हमे झगड़ना पसंद नही था चाहे हमारे खेत मे पानी आये या ना आये बस हमे लड़ना नही है  यार झगड़ने से क्या मिलता है हम भले ही गरीब थे मगर हमारे मे इन्सानियत थी मेरे बाबूजी हमेशा ही ऐसे थे और उनकी शिक्षा हमने भी उतारी थी हमारे जीवन मे ए सील सीला रोज चलता था फिर मै सोचने लगा कि इस्से कुछ नही होने वाला किसान की जिंदगी मे बहुत मेहनत होती है फिर मैंने विचार किया की हम शहर चले जाते है मैंने बाबूजी को बात कही फिर दो दिन तक सोच कर बताया बाबूजी ने ओर मुझे कहा ठीक है बेटा मगर हम पैसे कहासे लाएंगे हमे तो कोई पैसा देगा नही फिर मै गांवके लोगो से मिला मगर मुझे पैसे नही मिले फिर मै घर आया और मेरी पत्नी को कहा अब खाना पीरसो मुझे भुल बहुत लगी है फिर मैंने खाना खाया और मेरे बच्चो को भी खाना खिलाया अब तो शाम हो गई थी फिर बिस्तर लगाया 

Motivational Story in Hindi for Success in Life

ओर सो गया मगर मुझे पुरी रात नींद नही आई मुझे शहर जानेका उत्साह था क्यु की मै शहर जाउंगा ओर मै कमाई करुंगा फिर हम अमिर बन जाएंगें मै ए सब विचार कर रही था फिर मुझे विचार आया की हमारे गांव मे एक शेठ रहता है सुबह होते ही उसे मिलता हु मै शेठ से मिला और कहा शेठ हमे शहर जाना है मगर हमारे पास उतने पैसे नही है अगर आप थोड़ीसी मदद करे तो हम शहर जा सकतेहै मेरी बात सुनकर  शेठ बोला बेटा मै पैसा तो दु मगर कीस पर दु अगर तुम्हारे पास कुछ है तो मै दे सकता हु फिर मैंने कहा हमारे पास 8 बीघा जमीन है फिर मेरे बाबूजी को बुलाए और उसमे से 4 बीघा जमीन 2 लाख मे बेच दी उस शेठ को अब हम शहर जाने के लिए तैयार थे मगर बाबूजी ने मुझे ऐसा कहा की


शहर जानेसे मेरे पेर लड़खड़ा गए बाबूजी ने कहा बेटा तुम लोग शहर जाओ मुझे मेरा सुंदर गांव ही पसंद है मै नही आना चाहता तुम लोग जाव मेरा आशीर्वाद हमेशा तुम्हारे पास है मेहनत करके खुब सारे पैसे कमाओ और अमीर बनो फिर मैंने कहा ठीक है बाबूजी मगर बाबूजी आप अपना ख्याल रखना नही तो हम शहर से वापस आ जाएंगें फिर हम शहर के लिए रवाना हुए मगर गांव छोड़नेका मन नही हो रहा था मेरा प्यारासा गांव था और हम दिल्ली मे आ गए फिर भाड़े पे मकान लिया और दोनो बच्चो को दिल्ली की स्कुल मे एड कर दिया फिर हम काम की खोज करने लगे 5 दिन के बाद मुझे एक बड़ी कंपनी मे नौकरी मिली 6 - 7 महीने भरे उस कंपनी मे इस नौकरी फिर मेरा घर का खर्चा ही निकल रहा और ज्याद कुछ नही मै कंपनी से निकल गया फिर मैंने

Motivational Story in Hindi for Success in Life

दुसरा काम शुरु किया में गरीब जरूर था मगर मैंने हिम्मत नही हारी कोशिश करता ही रहा अगली बार कारोबार शुरु किया था मगर छोटा सा कारोबार था इस काम मे मुझे आगे बढ़ने की उम्मीद दिखाई दे रही थी फिर मै आगे बढ़ता ही रहा बढ़ता ही रहा 5 साल तक मैंने पुरी मेहनत और पुरी लगन से की और फिर मै बन गया करोड़पति कल तक मैं गरीब था आज मैं करोड़ो का मालिक हु 


अबतो मुझे बाबूजी ओर मेरे सुंदर गांव की याद आ रही थी हमने गांव जानेका फैसला ले लिया सोचा कि बाबूजी को साथ लेकर वापस आ जाएंगे जब हमने गांव मे अपने पांव रखा तो हमारी आंखो से आंसू निकल रहे थे मैं गांव के पेडो को अपनी बाहो मे लेकर रोने लगा मेरा गांव मेरा गांव करता रहा  मित्रो गांव की मजा ही कुछ और होती है फिर हम बाबूजी को मिले बाबूजी तो हमे देखकर खुश खुश हो गए मेरा छोटा आ गया मेरा छोटा आ गया बाबूजी मेरे दोनो बच्चो को लेकर रोने लगे फिर बच्चो ने कहा दादा जी आप रोए नई फिर मेरी पत्नी ने खाना बनाया ओर सबने पेट भरके खाया फिर मैं ओर बाबूजी दोनो खेत देखने के लिए गए और बाबूजी को मैंने कहा बाबूजी क्या गांवो में आज भी एक दूसरे के खेत को लेकर लड़ाईयां होती है फिर बाबूजी ने कहा हा बेटा आज भी खेतो के लिए लड़ाईया होती ही रहती है फिर दोनो हस पडे़ 

दोस्तो बस यही है मेरी गरीबी की और कामयाबी की प्रेरणादायक स्टोरी - धन्यवाद...


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